Sheetala Ashtami 2025: कब हैं बसौड़ा, जाने पूजा के लिए सही तिथि और मुहूर्त, माता को लगेगा ठंडे पकवानों का भोग
- byShiv
- 20 Mar, 2025

इंटरनेट डेस्क। होली के आठ दिन बाद बसौड़ा यानी के शीतला अष्टमी पर्व मनाया जाता है। हिंदू धर्म में शीतला अष्टमी का बहुत महत्व है। इस दिन घर में बने ठंडे पकवानों का माता शीतला को भोग लगाया जाता है। यह पर्व चैत्र मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी को आता है। इस दिन लोग शीतला माता के विशेष रूप से पूजा की जाती है। साथ ही साथ परिवार के सभी सदस्य भी बासी भोजन ही खाते हैं। ऐसा इसलिए है क्योंकि इस दिन चूल्हा जलाने की परंपरा नहीं है, तो जानते हैं कब हैं बसौड़ा।
कब है बसौड़ा
जानकारी के अनुसार बसौड़ा 22 मार्च को है, उसी दिन चैत्र कृष्ण अष्टमी तिथि है। इस दिन सूर्याेदय से पूरे दिन अष्टमी तिथि रहेगी इसलिए इस दिन चैत्र कृष्ण मास की शीतलाष्टमी का व्रत पूजा किया जाएगा। बसौड़े पर शीतला माता की पूजा की जाती है। कई जगहों को बसौड़े की पूजा होलिका दहन के 7वें दिन भी की जाती है। ऐसे में राजस्थान कई जिलों में आज रांदा पुआ हैं और कल बसौड़ा है।
बसौड़े पर शीतला माता की पूजा का महत्व
बसौड़ा पर शीतला माता की पूजा की जाती है। माता काली जिस तरह असुरों का नाश करती हैं, उसी तरह शीतला माता रोगों और कष्टों रूपी राक्षसों का अंत करती हैं। इसका मतलब है कि शीतला माता बीमारियों और परेशानियों से हमारी रक्षा करती हैं। बसौड़ा सर्दी की समाप्ति और गर्मी के आगमन का संकेत है। गर्मी शुरू होते ही त्वचा रोग शुरू हो जाते हैं इसलिए शीतला माता से गर्मी से प्रकोप से बचाव के लिए प्रार्थना की जाती है। शीतला माता को शीतलता की देवी कहा जाता है।
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